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एनजाइना क्या है? – (What is Angina in hindi?)
एनजाइना सीने में दर्द या बेचैनी है जो हृदय की मांसपेशियों में रक्त के प्रवाह में कमी आने से ऑक्सीजन की कमी के कारण होता है। एनजाइना में आपको सीने में दबाव (pressure) या निचोड़ने जैसा दर्द (squeezing pain) महसूस हो सकता है। इसके अलावा, आपको कंधे, बांह, गर्दन, जबड़े, पेट या पीठ में भी दर्द महसूस हो सकता है। किसी किसी में एनजाइना की तकलीफ अपच के जैसी भी लग सकती है।
इसके अलावा, कुछ व्यक्तियों को कोई दर्द नहीं होता है, लेकिन सांस लेने में तकलीफ या थकावट जैसे अन्य लक्षणों का अनुभव होता है। यदि ये लक्षण हृदय की मांसपेशियों में ऑक्सीजन की कमी के कारण होते हैं, तो इस स्थिति को “एनजाइनल इक्विवेलेंट (anginal equivalent)” कहा जाता है।
एनजाइना कोई बीमारी नहीं है। यह हृदय संबंधी अधिक गंभीर स्थिति का संकेत या लक्षण है, जिसे कोरोनरी हार्ट डिजीज (coronary heart disease) अथवा कोरोनरी आर्टरी डिजीज (coronary artery disease) भी कहा जाता है। एनजाइना के कई रूप हैं, जिनमें स्थिर एनजाइना (stable angina), अस्थिर एनजाइना (unstable angina), माइक्रोवैस्कुलर एनजाइना (microvascular angina) और कोरोनरी आर्टरी स्पाज्म द्वारा उत्पन्न एनजाइना (वैसोस्पैस्टिक या वैरिएंट एनजाइना) शामिल हैं।
एनजाइना अक्सर तब होता है जब एक या अधिक कोरोनरी धमनियां (coronary arteries) संकुचित या बाधित हो जाती हैं, इस स्थिति को इस्किमिया (ischemia) कहा जाता है।
इसके अतिरिक्त, एनजाइना कोरोनरी माइक्रोवैस्कुलर डिसफंक्शन (coronary microvascular dysfunction) का संकेत भी हो सकता है। यह एक प्रकार की हृदय की बीमारी है, जो हृदय की सबसे छोटी कोरोनरी धमनियों पर हमला करती है और यह पुरुषों की तुलना में महिलाओं में अधिक होती है।
आपके एनजाइना के प्रकार के अनुसार कई चीजें आपके एनजाइना की तकलीफ को उत्तेजित कर सकती हैं। इसके अलावा, आपके एनजाइना के प्रकार के अनुसार लक्षण भी भिन्न-भिन्न होते हैं।
एनजाइना के प्रकार क्या हैं? – (What are The Types of Angina in hindi?)
एनजाइना के विभिन्न प्रकार हैं। इसका प्रकार, अंतर्निहित कारण तथा लक्षणों को कम करने के लिए आराम या दवा की आवश्यकता होती है या नहीं, से निर्धारित होता है।
1) स्थिर एनजाइना – (Stable Angina in hindi)
एनजाइना का सबसे प्रचलित प्रकार स्थिर (स्टेबल) एनजाइना है। यह अक्सर शारीरिक गतिविधि (व्यायाम) के बाद होता है तथा आराम या एनजाइना की दवा के सेवन से कम हो जाता है। उदाहरण के लिए, चढ़ाई वाला मार्ग चढ़ते समय या ठंडे मौसम में होने वाली तकलीफ एनजाइना हो सकती है।
स्थिर एनजाइना में दर्द होने का अनुमान पहले ही लगाया जा सकता है, और यह दर्द अक्सर पहले अतीत में हुई सीने में दर्द की घटनाओं जैसा लगता है। सीने में तकलीफ अक्सर थोड़े समय के लिए होती है, जो पांच मिनट से अधिक नहीं रहती।
2) अस्थिर एनजाइना – (Unstable Angina in hindi)
अस्थिर एनजाइना बिना किसी चेतावनी के होता है तथा आराम के दौरान होता है। इस एनजाइना में तकलीफ बढ़ती जाती है अर्थात स्थिति बिगड़ती जाती है और थोडी सी शारीरिक गतिविधि से दर्द शुरू हो जाता है। यह दर्द आमतौर पर अधिक तीव्र होता है और स्थिर एनजाइना से अधिक समय तक रहता है, लगभग 20 मिनट तक। आराम करने से या सामान्य एनजाइना के उपचार से दर्द (या तकलीफ) से राहत नहीं मिलती है। यदि रक्त प्रवाह ठीक नहीं होता है, तो हृदय में ऑक्सीजन की कमी हो जाती है, जिसके परिणामस्वरूप दिल का दौरा पड़ता है। अस्थिर एनजाइना एक गंभीर स्थिति है जिसके लिए तत्काल चिकित्सीय सहायता की आवश्यकता होती है।
3) वैरिएंट एनजाइना अथवा प्रिंज़मेटल एनजाइना – (Variant Angina or Prinzmetal Angina in hindi)
कोरोनरी आर्टरी डिजीज (coronary artery disease) वेरिएंट एनजाइना, जिसे प्रिंज़मेटल एनजाइना के रूप में भी जाना जाता है, का कारण नहीं है। यह हृदय की धमनियों में ऐंठन (spasm in the heart’s arteries) से उत्पन्न होता है, जो अस्थायी रूप से रक्त प्रवाह को प्रतिबंधित करता है। वेरिएंट एनजाइना का प्राथमिक लक्षण सीने में गंभीर तकलीफ (severe chest discomfort) है। यह अधिकतर चक्रीय रूप (happens in cycles) में होता है, आमतौर पर आराम के दौरान और रात के समय। तकलीफ को कम करने के लिए एनजाइना की दवा का उपयोग किया जा सकता है।
4) रिफ्रैक्टरी एनजाइना (Refractory Angina in hindi)
इस प्रकार में दवाओं और जीवनशैली में बदलाव के बावजूद, एनजाइना के अटैक (angina attacks) आम बने रहते हैं।
5) लुडविग एनजाइना – (Ludwig’s Angina in hindi)
लुडविग एनजाइना एक बहुत ही दुर्लभ लेकिन गंभीर जीवाणु त्वचा संक्रमण है जो मुंह, गले और जबड़े को प्रभावित करता है। लुडविग एनजाइना, एक प्रकार का सेल्युलाइटिस (cellulitis), आपकी जीभ के नीचे के संवेदनशील ऊतकों को संक्रमित करने के लिए तेजी से विकसित होता है। युवाओं की तुलना में वयस्कों में इस खतरनाक विकार के होने की संभावना अधिक होती है। जैसे-जैसे संक्रमण बढ़ता है, यह जीभ को ऊपर उठाने का कारण बनता है; जिसका उपचार न किए जाने पर सांस लेने में कठिनाई या रुकावट हो सकती है। ज्यादातर, जिन लोगों को जल्दी इलाज मिल जाता है वे पूरी तरह ठीक हो जाते हैं।
स्ट्रेप्टोकोकस (streptococcus) और स्टैफिलोकोकस (staphylococcus) बैक्टीरिया लुडविग एनजाइना के सबसे आम कारण हैं। यह अक्सर मुंह में चोट लगने या संक्रमण, जैसे दांत का फोड़ा (tooth abscess), के बाद होता है।
निम्नलिखित कारणों से भी लुडविग एनजाइना हो सकता है:
- हाल ही में दांत निकलवाना
- खराब दंत स्वच्छता (poor dental hygiene)
- मुँह में आघात या घाव
6) माइक्रोवैस्कुलर एनजाइना (Microvascular Angina in hindi)
माइक्रोवैस्कुलर एनजाइना महिलाओं में अधिक होता है। इस प्रकार में, आपको कोरोनरी आर्टरी में रुकावट के बिना सीने में दर्द होता है। ऐसा इस कारण से होता है कि आपकी सबसे छोटी कोरोनरी धमनियां (coronary arteries) उस तरह से काम नहीं कर रही हैं जिस तरह से उन्हें करना चाहिए, इसलिए आपके हृदय को आवश्यक मात्रा में रक्त नहीं मिल पाता है। इस प्रकार में सीने का दर्द अधिकतर 10 मिनट से अधिक समय तक रहता है।
एनजाइना के कारण क्या हैं? – (What are The Causes of Angina in hindi?)
एनजाइना एक ऐसी स्थिति है जो तब होती है जब हृदय की मांसपेशियों में अपर्याप्त रक्त प्रवाह होता है। रक्त हृदय की मांसपेशियों को ऑक्सीजन की आपूर्ति करता है, जिसकी उसे जीवित रहने के लिए आवश्यकता होती है। जब हृदय की मांसपेशियों को पर्याप्त ऑक्सीजन नहीं मिलती है, तो इस्किमिया (ischemia) नामक स्थिति उत्पन्न होती है।
कोरोनरी आर्टरी डिजीज (coronary artery disease) हृदय की मांसपेशियों में रक्त के प्रवाह में कमी का सबसे प्रचलित कारण है। वसा जमा होने के परिणामस्वरूप, जिन्हें प्लाक (plaques) कहा जाता है, कोरोनरी धमनियाँ संकुचित हो सकती हैं तथा इस स्थिति को एथेरोस्क्लेरोसिस (atherosclerosis) कहा जाता है।
यदि रक्त वाहिका में प्लाक टूट जाता है या रक्त का थक्का बन जाता है, तो यह संकुचित धमनी के माध्यम से रक्त के प्रवाह को तुरंत अवरुद्ध कर सकता है। इसके परिणामस्वरूप हृदय की मांसपेशियों में रक्त के प्रवाह में तेजी से और महत्वपूर्ण रूप से कमी आ सकती है।
जब ऑक्सीजन की मांग न्यूनतम होती है, उदाहरण के लिए आराम के दौरान, तब हृदय की मांसपेशियां एनजाइना के लक्षण पैदा किए बिना कम रक्त प्रवाह के साथ कार्य करने में सक्षम हो सकती हैं। दूसरी ओर, जब ऑक्सीजन की आवश्यकता बढ़ जाती है जैसे कि व्यायाम के दौरान, तब एनजाइना की तकलीफ उत्पन्न हो सकती है।
एनजाइना के अन्य कारणों (other causes of angina in hindi) में निम्नलिखित शामिल हैं:
- हाइपरट्रॉफिक कार्डियोमायोपैथी (hypertrophic cardiomyopathy)
- पल्मोनरी एम्बोलिज्म (Pulmonary embolism) – फेफड़ों की किसी प्रमुख धमनी में रुकावट
- पेरीकार्डिटिस (Pericarditis ) – दिल के आसपास की थैली की सूजन
- एओर्टिक डायसेक्शन (Aortic dissection)
- एओर्टिक स्टेनोसिस (aortic stenosis) (आपके हृदय के मुख्य भाग में एक वाल्व का सिकुड़ना)
एनजाइना के लक्षण क्या हैं? – (What are The Symptoms of Angina in hindi?)
सीने में दर्द और बेचैनी एनजाइना के सामान्य लक्षण (common angina symptoms in hindi) हैं। सीने में दर्द और बेचैनी का वर्णन इस प्रकार किया जा सकता है, जैसे सीने में:
- दबाव महसूस होना
- निचोड़ने जैसा दर्द महसूस होना
- जलन महसूस होना
एनजाइना में बांहों, जबड़े, गर्दन, कंधे या पीठ में भी दर्द का अनुभव हो सकता है।
इसके अतिरिक्त एनजाइना के अन्य लक्षण (additional angina symptoms in hindi) निम्नलिखित हैं:
- थकान
- चक्कर आना
- सांस लेने में कठिनाई
- जी मिचलाना
- पसीना आना
- अपच
- सीने में जलन
एनजाइना तीव्रता, अवधि और प्रकार में भिन्न हो सकता है। जो लक्षण नए या असामान्य हैं, वे अधिक खतरनाक प्रकार के एनजाइना (अस्थिर एनजाइना) या दिल के दौरे का संकेत दे सकते हैं।
एनजाइना के किसी भी नए या बढ़ते हुए लक्षण की तुरंत डॉक्टर द्वारा जांच की जानी चाहिए ताकि यह निर्धारित किया जा सके कि आप स्थिर एनजाइना से पीड़ित हैं या अस्थिर एनजाइना से।
महिलाओं में एनजाइना के लक्षण – (Angina Symptoms in Women in hindi)
दोस्तो, महिलाओं में एनजाइना के लक्षण एनजाइना के सामान्य लक्षणों से भिन्न हो सकते हैं। लक्षणों में यह अंतर इलाज मिलने में देरी का कारण भी बन सकता है। उदाहरण के लिए, सीने में दर्द एनजाइना से पीड़ित महिलाओं में एक विशिष्ट लक्षण है, लेकिन यह हमेशा महिलाओं में एकमात्र या सबसे प्रमुख लक्षण नहीं होता है।
महिलाओं को एनजाइना के निम्नलिखित लक्षण (angina symptoms in women in hindi) भी अनुभव हो सकते हैं जैसे:
- गर्दन, दांत, जबड़े या पीठ में तकलीफ (या परेशानी) होना
- सांस लेने में कठिनाई
- छाती पर दबाव पड़ने के स्थान पर भयानक दर्द (stabbing pain) होता है
- जी मिचलाना और उल्टी
अमेरिकन हार्ट एसोसिएशन (American Heart Association) महिलाओं से हृदय रोग के लक्षणों के लिए मदद लेने का आग्रह करता है। एसोसिएशन इस बात पर भी प्रकाश डालता है कि यू.एस.ए. (U.S.A.) में महिलाओं की मृत्यु का मुख्य कारण कार्डियोवैस्कुलर डिजीज (cardiovascular disease) है और यह लगभग आधी अश्वेत अमेरिकी महिलाओं में होती है।
एनजाइना के जोखिम कारक – (Risk factors for Angina in hindi)
निम्नलिखित कारक एनजाइना विकसित होने की संभावना बढ़ा सकते हैं (factors that may raise your chance of developing angina in hindi):
1) आयु (Age)
एनजाइना 60 वर्ष से अधिक उम्र के व्यक्तियों में अधिक होता है।
2) हृदय रोग का पारिवारिक इतिहास (Family History of Heart Disease)
यदि आपके माता-पिता या भाई-बहनों में से किसी को हृदय रोग है या दिल का दौरा पड़ा है, तो आपको अपने चिकित्सक को जरूर बताना चाहिए।
3) मधुमेह (Diabetes)
मधुमेह से कोरोनरी आर्टरी डिजीज (coronary artery disease) का खतरा बढ़ जाता है, जिसके परिणामस्वरूप एनजाइना के साथ-साथ दिल का दौरा भी पड़ सकता है। ऐसा इसलिए है क्योंकि मधुमेह एथेरोस्क्लेरोसिस होने की गति को तेज करता है और कोलेस्ट्रॉल के स्तर को बढ़ाता है।
4) तम्बाकू का सेवन (Tobacco Consumption)
धूम्रपान, तंबाकू चबाने और लंबे समय तक धूम्रपान के संपर्क में रहने से धमनी की परत को नुकसान हो सकता है, जिससे कोलेस्ट्रॉल जमा हो जाता है और रक्त प्रवाह में बाधा उत्पन्न होती है।
5) उच्च रक्तचाप (High Blood Pressure in hindi)
आपके रक्तचाप में लंबे समय तक वृद्धि धमनियों को सख्त करके आपकी धमनियों को नुकसान पहुंचा सकती है।
6) बढ़ा हुआ कोलेस्ट्रॉल या ट्राइग्लिसराइड का स्तर (High cholesterol or triglyceride levels in hindi)
रक्त में लो-डेंसिटी लिपोप्रोटीन (low-density lipoprotein – LDL) का स्तर बढ़ने से धमनियां सिकुड़ सकती हैं। उच्च एलडीएल कोलेस्ट्रॉल स्तर एनजाइना और दिल का दौरा पड़ने के जोखिम को बढ़ाता है। रक्तप्रवाह में ट्राइग्लिसराइड का बढ़ा हुआ स्तर (elevated triglyceride level) भी हानिकारक है।
7) भावनात्मक स्तर पर तनाव (Stress on the Emotional Level)
अत्यधिक तनाव और क्रोध के कारण रक्तचाप बढ़ सकता है। तनाव के समय जारी हार्मोन का बढ़ा हुआ स्तर धमनियों को संकुचित कर सकता है और एनजाइना के जोखिम को बढ़ा सकता है।
8) अन्य स्वास्थ्य समस्याएँ (Other Health Problems)
यदि आपको पेरिफेरल आर्टरी डिजीज (peripheral artery disease), क्रोनिक रीनल डिजीज (chronic renal disease), मेटाबोलिक सिंड्रोम (chronic renal disease) है, या स्ट्रोक (stroke) का पिछला इतिहास है, तो आपको एनजाइना होने की अधिक संभावना है।
9) मोटापा (Obesity)
मोटापे से हृदय रोग विकसित होने की संभावना बढ़ जाती है, जिसके परिणामस्वरूप एनजाइना हो सकता है। मोटापा शरीर को रक्त प्रदान करने की हृदय की क्षमता पर दबाव डालता है।
10) नशीली दवाओं का दुरुपयोग (Misuse of Drugs)
कोकीन और अन्य उत्तेजक पदार्थों में रक्त वाहिका में ऐंठन और एनजाइना को उत्पन्न करने की क्षमता होती है।
11) ठंडा तापमान (Cold Temperatures)
ठंडा तापमान प्रिंज़मेटल एनजाइना (Prinzmetal’s angina) को ट्रिगर कर सकता है।
12) दवाएं (Medications)
कुछ दवाएं (जैसे माइग्रेन की दवाएं) जो रक्त धमनियों को संकुचित करती हैं, प्रिंज़मेटल एनजाइना का कारण बन सकती हैं।
13) अपर्याप्त व्यायाम (Inadequate Exercise)
गतिहीन या निष्क्रिय जीवनशैली कोलेस्ट्रॉल के बढ़े हुए स्तर, टाइप 2 डायबिटीज, उच्च रक्तचाप और मोटापे से जुड़ी है। आपके लिए सबसे उपयुक्त व्यायाम का प्रकार और मात्रा निर्धारित करने के लिए आपको अपने चिकित्सक से परामर्श लेना चाहिए।
एनजाइना का निदान – (Diagnosis of Angina in hindi)
एनजाइना का निदान करने के लिए विभिन्न परीक्षण आवश्यक हो सकते हैं।
चिकित्सक से परामर्श
यदि आप सीने में तकलीफ के बाद अपने डॉक्टर से मिलते हैं, तो वह निम्नलिखित के बारे में पूछ सकता है:
- आपको क्या लक्षण थे
- जब लक्षण शुरू हुए तो आप उस समय क्या कर रहे थे
- आपकी जीवनशैली, आपका आहार तथा क्या आप धूम्रपान करते हैं या शराब पीते हैं
- आपके परिवार की चिकित्सीय पृष्ठभूमि (family’s medical background) – क्यूंकि हृदय संबंधी रोग परिवारों में चल सकते हैं
इसके अतिरिक्त, आपका चिकित्सक हृदय संबंधी स्थिति के जोखिम को निर्धारित करने के लिए कुछ परीक्षण भी कर सकता है, जो निम्नलिखित हैं:
- आपका रक्तचाप जांचना
- आपके बीएमआई (बॉडी मास इंडेक्स) की गणना करना – इसके लिए आपको अपने वजन और ऊंचाई के माप की आवश्यकता होती है
- आपकी कमर की परिधि (waist circumference) को नापना
यदि चिकित्सक को संदेह है कि आपको एनजाइना या किसी अन्य प्रकार का हृदय रोग है, तो वह आपको और अधिक परीक्षणों (tests) के लिए अस्पताल जाने की सलाह दे सकता है।
परिक्षण (Tests in hindi)
अस्पताल में यह निर्धारित करने के लिए कि आपको एनजाइना है या नहीं, तथा दिल के दौरे या स्ट्रोक जैसी अधिक गंभीर स्थितियों के विकसित होने के जोखिम को निर्धारित करने के लिए आपके परीक्षण (tests) किए जा सकते हैं।
आपके निम्नलिखित परिक्षण किए जा सकते हैं:
1) इलेक्ट्रोकार्डियोग्राम या ईसीजी – (Electrocardiogram or ECG)
यह एक परीक्षण है जिसका उपयोग हृदय की विद्युत गतिविधि और हार्ट रिदम (heart rhythm) को मापने के लिए किया जाता है। स्टिकी पैच (जिन्हें इलेक्ट्रोड कहा जाता है) छाती तथा बांहों और पैरों पर लगाए जाते हैं। ये इलेक्ट्रोड तारों के माध्यम से कंप्यूटर से जुड़े होते हैं, जो परीक्षण के परिणाम प्रदर्शित करता है। एक इलेक्ट्रोकार्डियोग्राम (ईसीजी) दिखा सकता है कि दिल बहुत धीमी गति से, बहुत तेज़ या बिल्कुल नहीं धड़क रहा है। आपका चिकित्सक यह निर्धारित करने के लिए कि आपके हृदय में रक्त प्रवाह धीमा हो गया है या बाधित हो गया है, आपके हार्ट रिदम (heart rhythm) के पैटर्न को भी देख सकता है।
2) स्ट्रेस टेस्ट (Stress Test)
जब आपका हृदय अधिक मेहनत कर रहा हो तो कभी-कभी एनजाइना (या इस्केमिक चेस्ट पेन) की पहचान करना आसान होता है। स्ट्रेस टेस्ट (या एक्सरसाइज ईसीजी) में इलेक्ट्रोकार्डियोग्राम स्थिर साइकिल चलाते समय या ट्रेडमिल (treadmill) पर चलते समय किया जाता है। यदि आप व्यायाम करने में सक्षम नहीं हैं, तो आपको ऐसी दवाएं दी जा सकती हैं जो हृदय पर व्यायाम के प्रभाव की नकल करती हैं।
3) छाती का एक्स-रे (Chest X-ray)
छाती का एक्स-रे आपके हृदय और फेफड़ों की स्थिति दिखाता है। छाती का एक्स-रे कई अन्य स्थितियों को देखने में मदद करता है, जो सीने में दर्द का कारण हो सकती हैं, जैसे फेफड़ों की स्थिति और यह देखना कि हृदय का आकार बड़ा हुआ है या नहीं।
4) इकोकार्डियोग्राम (Echocardiogram)
इकोकार्डियोग्राम या इको (echo) एक स्कैन है, जो गतिमान हृदय की छवियां बनाने के लिए ध्वनि तरंगों का उपयोग करता है। एक इकोकार्डियोग्राम हृदय और उसके आसपास की रक्त वाहिकाओं के माध्यम से रक्त के बहने का विश्लेषण करके, उनकी संरचना की जांच करके, और हृदय के पंपिंग चैम्बर्स (pumping chambers) का जांच करके कुछ हृदय संबंधित स्थितियों का निदान करने में मदद कर सकता है।
5) कार्डियक कम्प्यूटरीकृत टोमोग्राफी स्कैन (Cardiac Computerized Tomography Scan)
कार्डियक कम्प्यूटरीकृत टोमोग्राफी (सीटी) स्कैन एक इमेजिंग परीक्षण है, और यह दिखा सकता है कि आपका हृदय बड़ा है या इसकी कोई धमनी संकुचित है। इसमें आपके हृदय और उसकी रक्त वाहिकाओं की छवियां बनाने के लिए एक शक्तिशाली एक्स-रे मशीन का उपयोग किया जाता है। यह परीक्षण विभिन्न प्रकार की हृदय स्थितियों का निदान करने के लिए किया जाता है।
6) कार्डिएक एमआरआई (Cardiac Magnetic Resonance Imaging – MRI)
कार्डिएक एमआरआई (Cardiac Magnetic Resonance Imaging) एक परीक्षण है, जो हृदय की संरचना और रक्त वाहिकाओं की विस्तृत छवियां बनाने के लिए चुंबकीय क्षेत्र और रेडियो तरंगों का उपयोग करता है।
7) रक्त परीक्षण (Blood Tests)
जब हृदय की मांसपेशी क्षतिग्रस्त हो जाती है, तो कुछ हृदय एंजाइम (heart enzymes) आपके रक्तप्रवाह में प्रवेश करते हैं, जैसे कि दिल का दौरा पड़ने पर। आपका डॉक्टर आपको कार्डियक एंजाइम रक्त परीक्षण (cardiac enzyme blood test) लिख सकता है जो इन पदार्थों का पता लगाने में मदद कर सकता है। डॉक्टर आपको कुछ सामान्य रक्त परीक्षण जैसे मेटाबोलिक पैनल (metabolic panel) या कम्पलीट ब्लड काउंट (complete blood count) की भी सिफारिश कर सकता है।
8) कोरोनरी एंजियोग्राफी (Coronary Angiography)
यह आपके हृदय की रक्त वाहिकाओं में डाई इंजेक्ट करने के बाद किया जाने वाला स्कैन है। डाई आपकी रक्त वाहिकाओं की छवि एक्स-रे पर प्रदर्शित करती है। आपका डॉक्टर कार्डियक कैथीटेराइजेशन (cardiac catheterization) के दौरान यह प्रक्रिया कर सकता है।
एनजाइना की रोकथाम – (Prevention of Angina in hindi)
निम्नलिखित रणनीतियाँ एनजाइना को रोकने में आपकी मदद कर सकती हैं:
- धूम्रपान से बचना या छोड़ना
- शराब का सेवन न करना अथवा इसका सेवन सीमित करना
- पौष्टिक और हृदय के लिए फायदेमंद आहार (heart-healthy diet) का सेवन करना
- तनाव को प्रबंधित करने के तरीकों का अभ्यास करना
- स्वस्थ वजन बनाए रखना
- नियमित व्यायाम करना
- हृदय रोग से संबंधित अन्य स्वास्थ्य स्थितियों का प्रबंधन करना
- हृदय संबंधी जटिलताओं को रोकने के लिए अनुशंसित वैक्सीन (recommended vaccines) लेना
एनजाइना का इलाज क्या है? – (What is The Treatment Of Angina in hindi?)
एनजाइना के इलाज का मुख्य उद्देश्य लक्षणों की आवृत्ति और गंभीरता को कम करना तथा दिल के दौरे और मृत्यु के जोखिम को कम करना है।
इसके इलाज के विकल्प (treatment options for angina in hindi) निम्नलिखित हैं:
- जीवन शैली में परिवर्तन (Lifestyle changes)
- दवाएं (Medications)
- एंजियोप्लास्टी और स्टेंटिंग (Angioplasty and stenting)
- ओपन-हार्ट सर्जरी या कोरोनरी बाईपास सर्जरी (Open-heart surgery or coronary bypass surgery)
एनजाइना से पीड़ित अधिकांश रोगियों को कई दवाओं की आवश्यकता होती है। यदि दवाएँ अप्रभावी हों, तो सर्जरी की आवश्यकता हो सकती है। साथ ही, स्वस्थ जीवनशैली में संशोधन अपनाना भी महत्वपूर्ण है।
1) एनजाइना के अटैक के इलाज के लिए दवाएं – (Medicines for The Treatment of Angina Attacks in hindi)
यदि आपको स्थिर एनजाइना (सबसे आम प्रकार) का निदान किया जाता है, तो आपको एनजाइना हमले का अनुभव होने पर एक दवा दी जाएगी।
इस दवा को ग्लाइसेरिल ट्रिनिट्रेट (glyceryl trinitrate) या जीटीएन (GTN) कहा जाता है। यह माउथ स्प्रे या जीभ के नीचे घुलने वाली गोलियों के रूप में उपलब्ध है।
यदि आप एनजाइना के अटैक का अनुभव कर रहे हैं, तो:
- आप जो कर रहे हैं उसे छोड़ दें और एक ब्रेक लें।
- अपनी जीटीएन दवा का उपयोग करें।
- यदि पहली खुराक काम नहीं करती है, तो इसे 5 मिनट के बाद दोहराएं।
- यदि दूसरी खुराक लेने के 5 मिनट बाद भी लक्षण बने रहते हैं, तो आपको तुरंत चिकित्सीय सहायता लेनी चाहिए।
इसके अलावा, आप शारीरिक गतिविधि जैसे व्यायाम आदि में शामिल होने से पहले एनजाइना के हमले (angina attack) को रोकने के लिए जीटीएन (GTN) दवा का उपयोग कर सकते हैं। उपयोग के तुरंत बाद, आपको लालिमा, सिरदर्द या चक्कर आ सकते हैं।
जीटीएन (GTN) की गोलियां आम तौर पर खोले जाने के लगभग 8 सप्ताह बाद खराब (expire) हो जाती हैं, जिस समय उन्हें बदला जाना चाहिए। चूँकि जीटीएन (GTN) स्प्रे अधिक समय तक चलता है, इसलिए इसका उपयोग अधिक सुविधाजनक हो सकता है।
2) भविष्य में होने वाले एनजाइना के हमलों से बचने के लिए दवाएँ – (Medicines to Avoid Future Angina Attacks in hindi)
भविष्य में होने वाले हमलों को रोकने में मदद के लिए, आपको जीवन भर प्रतिदिन कम से कम एक अन्य दवा लेने की आवश्यकता हो सकती है। कुछ व्यक्तियों को दो या अधिक दवाओं के उपयोग की आवश्यकता हो सकती है।
एनजाइना के हमलों से बचने के लिए उपयोग की जाने वाली प्राथमिक दवाएं निम्नलिखित हैं:
बीटा ब्लॉकर्स (beta blockers) – हृदय को अधिक धीमी गति से और कम शक्ति के साथ धड़कने का कारण बनते हैं।
कैल्शियम चैनल ब्लॉकर्स (calcium channel blockers) – धमनियों को आराम देते हैं, जिससे हृदय की मांसपेशियों में रक्त का प्रवाह बढ़ता है
यदि आप इन दवाओं में से एक को लेने में असमर्थ हैं, तो डॉक्टर आपको रैनोलैज़िन (ranolazine), निकोरंडिल (nicorandil), या इवाब्रैडिन (ivabradine) लेने की सलाह दे सकता है।
3) दिल के दौरे और स्ट्रोक से बचने के लिए दवाएँ – (Medicines to Avoid Heart Attacks and Stroke in hindi)
जैसा कि मैंने ऊपर बताया है कि एनजाइना एक चेतावनी संकेत है कि आपको दिल का दौरा या स्ट्रोक जैसी गंभीर स्वास्थ्य समस्याएं होने का खतरा बढ़ गया है।
इसलिए, आपको इस जोखिम को कम करने के लिए अतिरिक्त दवाएं लेने की आवश्यकता है।
इन दवाओं में निम्नलिखित शामिल हैं:
- लो-डोस एस्पिरिन (low-dose aspirin) – रक्त के थक्कों से बचने के लिए
- एसीई इनहिबिटर (ACE inhibitors) – आपके रक्तचाप को कम करने के लिए
- स्टैटिन (statins) – आपके कोलेस्ट्रॉल के रक्त स्तर को कम करने के लिए
4) सर्जरी (Surgery)
यदि ये दवाएं आपके एनजाइना को नियंत्रित करने में अप्रभावी होती हैं तो सर्जरी की आवश्यकता हो सकती है।
एनजाइना के लिए दो प्रमुख प्रकार की सर्जरी हैं:
क) ओपन-हार्ट सर्जरी या कोरोनरी आर्टरी बाईपास ग्राफ्ट (Open-Heart Surgery or Coronary Artery Bypass Graft or CABG)
कोरोनरी आर्टरी बाईपास सर्जरी (coronary artery bypass surgery) के दौरान शरीर के किसी अन्य क्षेत्र से रक्त वाहिका के एक हिस्से का उपयोग अवरुद्ध या संकुचित हृदय धमनी के आसपास रक्त को पुनर्निर्देशित (redirect) करने के लिए किया जाता है। सीएबीजी (CABG) हृदय में रक्त के प्रवाह को बढ़ाता है, तथा अस्थिर एनजाइना और स्थिर एनजाइना दोनों के लिए उपचार का एक अच्छा विकल्प है, जिन पर दवाओं का असर नहीं होता है।
ख) स्टेंट डालने के साथ कोरोनरी एंजियोप्लास्टी (Coronary Angioplasty with Stent Insertion)
एंजियोप्लास्टी, जिसे परक्यूटेनियस कोरोनरी इंटरवेंशन (percutaneous coronary intervention) भी कहा जाता है, के दौरान कोरोनरी धमनी के संकुचित हिस्से को चौड़ा करने के लिए स्टेंट (stent) नामक एक छोटी ट्यूब का उपयोग किया जाता है।
ये दोनों सर्जरी बहुत प्रभावी हैं और कौन सी आपके लिए सबसे अच्छी है, यह पूरी तरह से आपकी परिस्थितियों पर निर्भर करता है। यदि आपके मामले में सर्जरी की आवश्यकता है, तो आप अपने डॉक्टर या सर्जन से अपने विकल्पों पर चर्चा कर सकते हैं।
सर्जरी के बाद भी आपको कुछ दवाएं लेनी पड़ेंगी।
5) अस्थिर एनजाइना का इलाज – (Unstable Angina Treatment in hindi)
यदि आप अस्थिर एनजाइना से पीड़ित हैं (इसमें लक्षण अप्रत्याशित रूप से उभरते हैं), तो आपको रक्त के थक्कों को रोकने और दिल का दौरा या स्ट्रोक होने के जोखिम को कम करने के लिए दवाएं लेने की आवश्यकता होगी।
आपको निम्नलिखित दवाएं दी जा सकती हैं:
- क्लोपिडोग्रेल (Clopidogrel)
- लो-डोस एस्पिरिन (Low-dose aspirin)
- निदान के तुरंत बाद रक्त पतला करने वाली दवा का इंजेक्शन
यदि आपको दोबारा एनजाइना अटैक, अथवा दिल का दौरा या स्ट्रोक होने का खतरा अधिक है तो सर्जरी (सीएबीजी या पीसीआई) की आवश्यकता हो सकती है।
एनजाइना के लिए जीवनशैली में बदलाव और घरेलू उपचार – (Lifestyle Changes and Home Remedies for Angina in hindi)
आपके दिल को स्वस्थ रखने के लिए स्वस्थ जीवनशैली में बदलाव एनजाइना के इलाज का महत्वपूर्ण हिस्सा है। निम्नलिखित में से कुछ एनजाइना को कम करने में मदद कर सकते हैं:
1) धूम्रपान बंद करें और धूम्रपान के धुंए के संपर्क में आने (सेकंड-हैंड स्मोकिंग) से बचें
धूम्रपान छोड़ने से एनजाइना को नियंत्रित करने में मदद मिल सकती है। यदि आपको धूम्रपान छोड़ने के लिए सहायता की आवश्यकता है, तो धूम्रपान बंद करने के उपचार के बारे में अपने डॉक्टर से परामर्श लें।
2) शराब के सेवन से बचें या इसे सीमित करें
शराब का सेवन न करें, और यदि आप शराब पीना चुनते हैं, तो इसे मध्यम मात्रा में लें। शराब की इष्टतम मात्रा (optimal amount) स्वस्थ पुरुषों के लिए एक दिन में दो ड्रिंक तक और स्वस्थ महिलाओं के लिए एक दिन में एक ड्रिंक तक है।
3) नियमित रूप से व्यायाम करें (Exercise Regularly)
हालाँकि व्यायाम से एनजाइना हो सकता है, लेकिन एक पर्यवेक्षित व्यायाम कार्यक्रम (supervised exercise program) सुरक्षित रूप से आपके दिल को मजबूत कर सकता है और अंततः एनजाइना को कम कर सकता है। इसलिए, आपको धीरे-धीरे शुरुआत करनी चाहिए और धीरे-धीरे अपने व्यायाम के स्तर को बढ़ाना चाहिए। आपका डॉक्टर आपको बता सकता है कि आप क्या नहीं कर सकते हैं और क्या कर सकते हैं। एक सामान्य लक्ष्य के रूप में, आपको प्रतिदिन कम से कम 30 मिनट की मध्यम शारीरिक गतिविधि करने का लक्ष्य रखना चाहिए।
4) अपना वजन नियंत्रित करें (Manage Your Weight)
यदि आपका वजन अधिक है या आप मोटापे से ग्रस्त हैं, तो आपको वजन घटाने के सुरक्षित विकल्पों के बारे में अपने डॉक्टर से परामर्श करना चाहिए।
5) अन्य स्वास्थ्य स्थितियों का प्रबंधन करें (Manage Other Health Conditions)
डायबिटीज, उच्च रक्तचाप और रक्त में कोलेस्ट्रॉल का उच्च स्तर एनजाइना का कारण बन सकता है। अतः उच्च रक्तचाप (high blood pressure), उच्च रक्त शर्करा (high blood sugar), और उच्च रक्त कोलेस्ट्रॉल (high blood cholesterol) को कम करने से एनजाइना को नियंत्रित करने में मदद मिल सकती है।
6) हृदय के लिए फायदेमंद आहार (Heart-Healthy Diet)
हृदय के लिए फायदेमंद आहार (ऐसा आहार जिसमें नमक, सैचुरेटेड फैट और ट्रांस फैट कम हो, तथा साबुत अनाज, फलों और सब्जियों से भरपूर हो) का सेवन कोलेस्ट्रॉल से भरे हुए प्लाक (cholesterol-filled plaque) से लड़ने में मदद कर सकता है जो एनजाइना के लिए जिम्मेदार है।
7) तनाव और गुस्सा कम करें (Reduce Stress and Anger)
यदि तनाव और गुस्सा (क्रोध) नियमित रूप से आपके एनजाइना का कारण बनते हैं, तो ध्यान या तनाव कम करने वाला कार्यक्रम एनजाइना को नियंत्रित करने में आपकी मदद कर सकता है। अधिक व्यायाम करना और सहायता समूहों (support groups) में दूसरों के साथ जुड़ना आपके भावनात्मक तनाव को कम करने के कुछ अतिरिक्त तरीके हैं।
अंतिम शब्द (Final Word in hindi)
एनजाइना में सीने में दर्द होना या दबाव की अनुभूति होना शामिल होती है। इससे आपको दिल का दौरा पड़ने का खतरा बढ़ जाता है। आपको एनजाइना को एक चेतावनी संकेत (warning sign) के रूप में मानना चाहिए और स्वस्थ विकल्प चुनना चाहिए।
यदि आप हृदय रोग से पीड़ित हैं जो एनजाइना को ट्रिगर करता है, तो अपना ख्याल रखें और उस स्थिति से निपटने के बारे में अपने डॉक्टर की सलाह का पालन करें।
यदि आप अचानक, अस्पष्ट, या बिगड़ते हुए सीने में दर्द का अनुभव कर रहे हैं तो तुरंत अपने चिकित्सक से परामर्श लें। प्रभावी चिकित्सा उपचार और स्वस्थ जीवनशैली एनजाइना को प्रबंधित कर सकते हैं या इसे वापस लौटने से रोक सकते हैं।
संदर्भ (References):
1) Angina
https://www.mayoclinic.org/diseases-conditions/angina/symptoms-causes/syc-20369373
2) Angina
https://www.mayoclinic.org/diseases-conditions/angina/diagnosis-treatment/drc-20369378
3) Angina – Treatment
https://www.nhs.uk/conditions/angina/treatment/
4) Angina: Types, Causes, Symptoms, Diagnosis, & Treatment
अस्वीकरण (Disclaimer):
इस लेख में जानकारी आपके ज्ञान के लिए दी गयी है| किसी भी उपाय/नुस्खे/दवा आदि को इस्तेमाल करने से पहले अपने चिकित्सक से सलाह जरूर कर लें, क्योंकि वो आपके स्वास्थ्य के बारे में ज्यादा जानता है|
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